माँ ! मैंने देखी एक परी
वो बिलकुल तेरे जैसी थी
तुम जैसी ही प्यारी प्यारी
उजली उजली गोरी गोरी
हाथों में फूलों की डाली
प्यार बहुत सा करने वाली ।
कभी ना लड़ना हिलमिल रहना
सही राह पर निर्भय बढ़ना
प्रेम देश से अपने करना
परियों की रानी का कहना ।
हंसी फूल से भी कोमल
पंख जैसे तेरा आँचल
बाल घनेरे जैसे काजल
तपती धूप में छाये बादल ।
मेरी खातिर लोरी गाई
चोकलेट भी दिलवाई थी
माँ!सच कहना क्या तुम ही ,
मेरे सपने में आई थी !
चित्र गूगल से साभार
वो बिलकुल तेरे जैसी थी
तुम जैसी ही प्यारी प्यारी
उजली उजली गोरी गोरी
हाथों में फूलों की डाली
प्यार बहुत सा करने वाली ।
कभी ना लड़ना हिलमिल रहना
सही राह पर निर्भय बढ़ना
प्रेम देश से अपने करना
परियों की रानी का कहना ।
हंसी फूल से भी कोमल
पंख जैसे तेरा आँचल
बाल घनेरे जैसे काजल
तपती धूप में छाये बादल ।
मेरी खातिर लोरी गाई
चोकलेट भी दिलवाई थी
माँ!सच कहना क्या तुम ही ,
मेरे सपने में आई थी !
चित्र गूगल से साभार
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें